अनुसूचित जाति उपयोजना के तहत गुणवत्तापूर्ण पटसन रेशा उत्पादन पर किसानों को मिला उन्नत प्रशिक्षण
12 Aug, 2025
भाकृअनुप-केन्द्रीय पटसन एवं समवर्गीय रेशा अनुसंधान संस्थान, बैरकपुर ने 5 से 7 अगस्त 2025 तक अनुसूचित जाति उपयोजना (S.C.S.P.) के अंतर्गत उत्तर 24 परगना और नादिया जिले के अनुसूचित जाति...........
आधार फेस ऑथेंटिकेशन ने बनाया नया रिकॉर्ड: 6 महीने में 100 करोड़ से 200 करोड़ लेन-देन का सफर पूरा
12 Aug, 2025
भारत के डिजिटल परिवर्तन में एक और बड़ा मील का पत्थर जुड़ गया है। भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (UIDAI) ने आधार फेस ऑथेंटिकेशन के 200 करोड़ लेन-देन का आंकड़ा पार कर लिया है।
स्मार्ट ग्रीन हाउस फार्मिंग हर किसान के लिए लाभदायक और आसान
12 Aug, 2025
ग्रीन हाउस फार्मिंग खेती को बेहतर और लाभदायक बना रही है। यह एक सरल लेकिन प्रभावशाली तकनीक है, जिससे किसान सब्जियाँ, फूल या जड़ी-बूटियाँ जैसे पोषक और मूल्यवान फसलें एक सुरक्षित और नियंत्रित वातावरण
धार्मिक और परोपकारी संस्थाओं को मुफ्त भोजन वितरण के लिए जीएसटी रिफंड — सेवा भोज योजना के तहत लाभ जारी
12 Aug, 2025
केंद्र सरकार ने धार्मिक और परोपकारी संस्थाओं द्वारा जन-सेवा के रूप में निःशुल्क भोजन, प्रसाद, लंगर और भंडारा वितरण को प्रोत्साहित करने के लिए चलाई जा रही .
खरीफ फसलों की बुवाई में पिछले वर्ष के मुकाबले 38.48 लाख हेक्टेयर की बढ़त
12 Aug, 2025
कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय ने 8 अगस्त 2025 तक खरीफ फसलों के क्षेत्रफल कवरेज की ताज़ा रिपोर्ट जारी की है। रिपोर्ट के अनुसार इस वर्ष कुल 995.63 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में खरीफ फसलों की बुवाई हो चुकी.
बारिश की मार: सोलन के टमाटर किसानों को भारी नुकसान, फसल 50% तक तबाह
11 Aug, 2025
हिमाचल प्रदेश के सोलन जिले का टमाटर देशभर में अपनी उच्च गुणवत्ता के लिए मशहूर है, लेकिन इस साल अत्यधिक बारिश ने किसानों की उम्मीदों पर पानी फेर दिया है।
शुरुआती किसानों के लिए इंडोर मशरूम खेती (Indoor Mushroom Farming) की पूरी गाइड
11 Aug, 2025
आज के समय में खेती सिर्फ खेतों तक सीमित नहीं है। अब किसान आधुनिक तकनीकों की मदद से छोटे-छोटे स्थानों में भी अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं। इन्हीं में से एक है
Modern Farming: भारत की कपास क्रांति, 2025 में नई उम्मीदों की फसल
11 Aug, 2025
2025 में भारत की कपास खेती नई दिशा और नई ऊँचाइयाँ छू रही है। खेतों में अब सिर्फ हल और बैलों का सहारा नहीं, बल्कि परंपरागत अनुभव और आधुनिक तकनीक (Modern Farming Method)का मेल देखने को मिल रहा है।